Saturday , January 25 2025

हरियाणा महिला आयोग का सरकार को सुझाव, वैवाहिक जीवन बचाने को अपनाया जाए केरल का तरीका


चंडीगढ़ | हरियाणा में परिवारों को टूटने से बचाने के लिए प्रदेश सरकार से राज्य महिला आयोग केरल मैरिज मॉडल लागू करने की सिफारिश करेगा. हाल ही में संपन्न हुई राष्ट्रीय महिला आयोग की बैठक में इस मॉडल को पेश किया गया था. इसका उद्देश्य शादी के बाद पैदा होने वाले विवादों को कम करना और पारिवारिक संबंधों को मजबूत करना है.

Shadi Marriage Vivah

आयोग की अध्यक्ष रेनू भाटिया ने बताया कि इस मॉडल के तहत दंपति को एक दूसरे को समझने का अच्छा मौका मिल पाएगा. शादीशुदा जीवन में आने वाली समस्याओं का भी सामना नहीं करना पड़ेगा. कई बार दंपति या उनके परिवार के कुछ अनकहे तथ्य सामने आ जाते हैं, जिससे परिवार बिखर जाते हैं.

यह भी पढ़े –  हरियाणा में कांग्रेस शुरू करेगी संविधान बचाओ रैली, सैलजा- सुरजेवाला गुट की रहेगी दूरी

केरल में होती है विवाह पूर्व काउन्सलिंग

ऐसी समस्याएं पति- पत्नी के बीच आपसी समझ की कमी के चलते पैदा होती हैं. उन्होंने जानकारी दी कि केरल में विवाह पंजीकरण से पहले काउंसलिंग जरूरी होती है. वहाँ शादी से पहले लड़का और लड़की की 5 से 7 दिन तक काउंसलिंग की जाती है, जिसमें दोनों अपने निजी जीवन, पारिवारिक बैकग्राउंड, पेशे या बाकी तथ्यों को एक- दूसरे से साझा करते हैं. यदि किसी मुद्दे पर परिवार में मतभेद होता है, तो वह आपस में दूरी बना लेते हैं. इससे शादी के बाद परिवार टूटने से बच जाते हैं.

यह भी पढ़े –  हरियाणा के इन 6 शहरों में होगी झमाझम बरसात, 11 जिलों में जारी हुआ धुंध का अलर्ट; आगे ऐसा रहेगा मौसम

अध्यक्ष रेनू भाटिया ने बताया कि कई बार दंपत्ति बिना एक दूसरे को समझे ही शादी के बंधन में बंध जाते हैं. वह अपनी कमियों को छुपाते हैं, जो शादी के बाद उजागर होती हैं, इससे परिवारों में बिखराव पैदा होता है.

सोशल मीडिया बन रही बड़ी वजह

वर्तमान समय में सोशल मीडिया पर मिलने के बाद शादी करने वाले दंपतियों की शिकायतें ज्यादा आ रही हैं. इसका कारण यह होता है कि ऐसे लोग कई बार अपनी जानकारी को छुपा कर शादी करते हैं, जिससे बाद में समस्या पैदा होती हैं. वर्तमान समय में पारिवारिक बिखराव के मामलों में शिक्षा, उम्र, स्टेटस या ग्रामीण शहरी का फैक्टर नहीं रहा है.

यह भी पढ़े –  हरियाणा में ग्रुप D कर्मचारियों के तबादले नहीं कर पाएंगे मंत्री, यहाँ पढ़ें पूरा माजरा

ऐसे केस भी सामने आ रहे हैं, जहाँ महिलाओं की उम्र 40 से 45 साल के बीच होती है. शिकायत करने वालों में शहरी, ग्रामीण, शिक्षित, अशिक्षित, डॉक्टर, इंजीनियर व ग्रेड ए कार्यरत महिलाएं भी शामिल होती हैं. ऐसे में परिवारों को शादी के बाद बिखरने से बचाने के लिए केरल मैरिज मॉडल एक अच्छा कदम साबित हो सकता है. हरियाणा में भी इस मॉडल का अध्ययन कर इसे लागू किया जाएगा.


हमें Google News पर फॉलो करे- क्लिक करे! हरियाणा की ताज़ा खबरों के लिए अभी हमारे हरियाणा ताज़ा खबर व्हात्सप्प ग्रुप में जुड़े!