Thursday , May 2 2024

अकाली सरकार में पूर्व मंत्री रहे मलूका की आईएएस बहू के इस्तीफे पर छिड़ा विवाद

भाजपा में हुई शामिल, केंद्रीय मंत्री ने कहा इस्तीफा कल हो गया था मंजूर; पंजाब के मुख्यमंत्री मान ने किया इनकार
खबर खास, चंडीगढ़ :
पंजाब में अकाली दल की सरकार में मंत्री रहे सिकंदर सिंह मलूका का बेटा गुरप्रीत मलूका और पूर्व आईएएस बहू परमपाल कौर भाजपा में शामिल हो गए हैं। लेकिन परमपाल कौर के इस्तीफे को लेकर अब विवाद छिड़ गया है। हालांकि केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने परमपाल के पार्टी में शामिल होते वक्त कहा कि उनका इस्तीफा बीते रोज ही मंजूर हो गया था। लेकिन पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने दावा किया है कि परमपाल कौर का इस्तीफा अभी मंजूर ही नहीं हुआ।
सोशल मीडिया एक्स पर पोस्ट डालकर मुख्यमंत्री मान ने कहा कि ‘परमपाल कौर, आईएएस अधिकारी के तौर पर इस्तीफा पंजाब सरकार की ओर से मंजूर नहीं किया गया। बीबी जी जितनी जल्दी आईएएस बनने की थी… छोड़ने के लिए कुछ तौर-तरीके हैं…कृप्या करके इस्तीफा देने के तरीके को समझो…नहीं तो पूरी उम्र की कमाई खतरे में पड़ सकती है…।’परमपाल कौर पंजाब राज्य औद्योगिक विकास निगम के मैनेजिंग डायरेक्टर के पद पर तैनात थी। परमपाल कौर ने अपना इस्तीफा मुख्य सचिव अनुराग वर्मा को बीते दिन ही भेज दिया था। जिसके बाद इस इस्तीफे को मुख्यमंत्री भगवंत मान की मंजूरी का इंतजार है। जिसे बाद में केंद्रीय परसोनल एंड ट्रेनिंग विभाग को भेज दिया जाएगा।
साल 2011 बैच की आईएएस अधिकारी परमपाल अक्टूबर में सेवानिवृत्त होने वाले थी। लेकिन भाजपा के उम्मीदवार बनाए जाने की बातचीत के बाद ही उन्होंने अपने पद से समय से पहले इस्तीफा दे दिया। परमपाल को 2015 में पीसीएस से आईएएस कैडर पर प्रमोशन मिला था और वह पंजाब में कई महत्वपूर्ण पदों पर काम कर चुकी है। मलूका परिवार परमपाल के इस्तीफा देने से पहले ही भाजपा के संपर्क में था। भाजपा मलूका परिवार को भाजपा में शामिल होने के लिए मना रही थी। हालांकि अभी तक सिकंदर सिंह मलूका भाजपा में शामिल नहीं हुए हैं।
गौर रहे कि आईएएस अधिकारी परमपाल कौर ने कुछ दिन पहले ही इस्तीफा दिया था और वह बठिंडा से लोकसभा चुनावों में भाजपा से उम्मीदवार हो सकती है। उनका मुकाबला अकाली दल अध्यक्ष सुखबीर बादल की तीन बार से सांसद पत्नी हरसिमरत कौर बादल से होगा।
वहीं, भाजपा में शामिल होने को लेकर आईएएस परमपाल कौर ने कहा कि उनके पति और वह दानों इकट्‌ठे ही भाजपा में आए हैं। उन्होंने कहा कि उनका कोई राजनीतिक करियर नहीं रहा और अब वह जब शुरूआत करने जा रही थीं तो उन्हें बेस्ट पार्टी चुननी थी।